शक्तिपीठ के विरोध में किसानों का चक्का जाम, राष्ट्रीय राजमार्गों पर यातायात प्रभावित
शक्तिपीठ हाईवे विरोधी संघर्ष समिति के बैनर तले किसानों द्वारा किए गए चक्का जाम के कारण 12 से अधिक राष्ट्रीय राजमार्गों पर यातायात बुरी तरह प्रभावित हुआ। इस आंदोलन का मुख्य उद्देश्य शक्तिपीठ परियोजना के खिलाफ अपनी आवाज उठाना और इसके संभावित प्रभावों के प्रति सरकार का ध्यान आकर्षित करना था। किसानों का कहना है कि यह परियोजना उनके कृषि भूमि और आजीविका पर नकारात्मक प्रभाव डाल सकती है।
इस विरोध प्रदर्शन के चलते कई घंटों तक राजमार्गों पर गाड़ियों की लंबी कतारें देखने को मिलीं। यात्रियों को भारी असुविधा का सामना करना पड़ा और कई महत्वपूर्ण मार्गों पर जाम के कारण देरी हुई। प्रदर्शनकारियों ने शांतिपूर्ण तरीके से अपनी मांगों को रखा, लेकिन यातायात रुकने से आम जनजीवन पर असर पड़ा। प्रशासन ने जाम हटाने के लिए किसानों से बातचीत की, लेकिन प्रदर्शनकारियों ने अपनी मांगें पूरी होने तक आंदोलन जारी रखने की चेतावनी दी है।
सरकार ने इस मुद्दे को गंभीरता से लेते हुए किसानों की चिंताओं को दूर करने के लिए बातचीत का प्रस्ताव दिया है। अधिकारियों ने कहा है कि वे किसानों की समस्याओं का समाधान खोजने के लिए तैयार हैं। इस बीच, यातायात को सुचारू करने के लिए वैकल्पिक मार्गों की व्यवस्था की गई है। प्रशासन ने लोगों से अपील की है कि वे धैर्य बनाए रखें और स्थिति सामान्य होने तक यात्रा की योजना को पुनर्व्यवस्थित करें।
Authored by Next24 Hindi